उत्तराखंड

जिलाधिकारी की पहल लाई रंग, गंभीर जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं में जागी नई उम्मीद

उत्तरकाशी: जिले में मातृ एवं शिशु मृत्यु दर को कम करने और सुरक्षित मातृत्व सुनिश्चित करने के उद्देश्य से, जिलाधिकारी प्रशांत आर्य द्वारा सभी संबंधित विभागों और स्वास्थ्य कर्मियों से गंभीर जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं (High-Risk Pregnant Women) को विशेष सहायता और देखभाल प्रदान करने के लिए जारी निर्देश अब धरातल पर नजर आ रहे हैं।

जिलाधिकारी के निर्देशों के बाद गंभीर जोखिम वाली गर्भवती महिलाओ के स्वास्थ्य देखभाल और उन्हें मानसून और आपदा की स्थिति को देखते हुए सुरक्षित स्वास्थ्य केंद्रों में शिफ्ट किए जाने और स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराने की मुहिम अब रंग लाने लगी है।

जिलाधिकारी के निर्देशों के बाद स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह सक्रिय और मुस्तैद हो गया है जिसके चलते जुलाई माह में 20 जुलाई तक जनपद की अनेक महिलाओं को सुरक्षित स्वास्थ्य केंद्रों पर शिफ्ट किया गया तथा जिनमें से 14 महिलाओं का प्रसव सुरक्षित और सुविधाजनक स्वास्थ्य केंद्रों के माध्यम से सुरक्षित हुआ है।

जिलाधिकारी प्रशांत आर्य ने कुछ दिन पहले ऐसे मामलों को प्राथमिकता देने और यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए थे कि गंभीर जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं को सभी जरूरी चिकित्सा सहायता उपलब्ध कराई जाएं तथा मानसून और आपदा को देखते हुए ऐसी महिलाओं को सुरक्षित स्वास्थ्य केंद्रों पर शिफ्ट किया जाये।

सभी स्वास्थ्य केंद्रों, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों और जिला अस्पताल में गंभीर जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं के लिए नियमित और अतिरिक्त प्रसवपूर्व जांच सुनिश्चित की जाए तथा दूरदराज के और दुर्गम क्षेत्रों से गंभीर जोखिम वाली महिलाओं को समय पर स्वास्थ्य सुविधाएं पहुंचाने के लिए एम्बुलेंस और अन्य परिवहन व्यवस्था की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए और आशा तथा आंगनबाड़ी ऐसी महिलाओं की जानकारी रखें और उन्हें अवश्य सहायता उपलब्ध कराएं।

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