देहरादून। केन्द्रीय चुनाव आयोग ने उत्तराखंड समेत पांच राज्यों में चुनाव का कार्यक्रम घोषित कर दिया है। यूपी में चुनाव सात चरणों में होगा जबकी मणिपुर में दो चरणों मं चुनाव होगा। उत्तराखंड पंजाब एवं गोआ में केवल एक चरण में ही चुनाव संपन्न होंगे। उत्तराखंड में नामांकन प्रक्रिय 21 जनवरी से शुरू होगी और 14 फरवरी को मतदान होगा। आयोग ने कोरोना के बढते मामलों को देखते हुए फिलहाल 15 जनवरी तक रैली, सभाओं और रोड शो पर प्रतिबंध लगाया है इस बीच चुनाव प्रचार वर्चुअली होगा।
दिल्ली में पांच राज्यों का चुनावी कार्यक्रम घोषित करते हुए मुख्य चुनाव अयुक्त ने कोरोना के प्रभाव को देखते हुए कई प्रतिबंध भी लगाऐ हैं। देश के चुनावी इतिहास में यह पहली बार होगा जब प्रत्याशी रैली, सभा, रोड शो नहीं कर सकेंगे। वह जनसंपर्क भी अपने साथ कैवल चार लोगों को लेकर ही कर सकेंगे हालांकी यह प्रतिबंध फिलहाल 15 जनवरी तक ही लागू रहेगा। उसके बाद समिक्षा कर आगे की रणनीति बनाई जायेगी।
पहली बार चुनाव प्रचार में सोशल मिडिया की भूमिका अहम हो जायेगी वर्चुअली चुनाव प्रचार से इस बार धूम-धड़ाका और प्रचार का शोर नहीं सुनाई देगा। एसे में मुशकिलें उन दलों के सामने आऐंगी जो तकनीकि रूप से सक्षम नहीं हैं। स्टार के प्रचारकों की रैली नहीं होने से भी कई प्रत्याशियों को उसका खामियाजा भुगतना पड़ सकता है। इसका सबसे ज्यादा खामियाजा छोटे दलों पर पड़ेगा, बड़े दलों के पास कार्यकर्ताओं की फौज एवं तकनीकि से लैस लोगों के सहारे आम मतदाता तक पहुंच हो सकेगी वह प्रत्याशी भी लाभ की स्थिती में रहेंगे जो जनता के बीच संपर्क साध चुके हैं।
चुनाव कार्यक्रम की घोषणा के साथ ही आचार संहिता भी लागू हो गई है। डीएम अब जिला निर्वाचन अधिकारी के रूप में काम करेंगे और देखेंगे की कहीं चुनाव आचार संहिता अथवा आयोग के निर्देशों का उल्लघंन तो नहीं हो रहा है।